उत्तानपादासन करने का तरीका और फायदे [Uttanapadasana (Raised Leg Pose) Steps And Benefits in Hindi]

उत्तानपादासन करने का तरीका, फायदे और सावधानियां – Uttanapadasana (Raised Leg Pose) Steps, Benefits And Precautions in Hindi : वर्तमान समय में स्वस्थ रहने के लिहाज से, योग न केवल भारतीयों की बल्कि विदेशियों की भी पहली पसंद बन गया है। शरीर को बीमारियों और अन्य समस्याओं से बचाने के लिए प्राचीन शैली योग कुशल साबित हो सकता है।

योग किसी व्यक्ति को न केवल शारीरिक रूप से बल्कि मानसिक रूप से भी स्वस्थ रखने में सहायक होता है। योग और प्राणायाम के विषयों पर कई बार वैज्ञानिक शोध भी हुए हैं, जिनमें इन को लाभकारी पाया गया है।

वैसे तो योग कई प्रकार के होते हैं लेकिन आज हम आपके लिए यह लेख लाये है, इस लेख में आप जानेगें की उत्तानपादासन क्या है, उत्तानपादासन कैसे करते है और उत्तानपादासन के स्वास्थ्य लाभ एवं उत्तानपादासन के फायदे क्या होते है और उत्तानपादासन करने का सही तरीका क्या होता है, तो चलिए शुरू करते है।

Table Of Contents :

उत्तानपादासन योग क्या है? [What is Uttanpadasana (Raised Leg Pose) in Hindi]:

उत्तानपादासन योग के सबसे महत्वपूर्ण आसनो में से एक है जिसको करने के अनेको स्वास्थ्य लाभ हैं। इसे (Raised Leg Pose) राइज लेग पोज के नाम से भी जाना जाता है। इस आसन का नाम उत्तानपादासन संस्कृत भाषा के तीन शब्दों से मिलकर बना है- उत्तान+पाद+आसन

  • उत्तान – ऊपर उठा हुआ
  • पाद – पैर
  • आसन – मुद्रा।

इस आसन को पीठ के बल लेट कर किया जाता हैं और पैर हवा में ऊपर उठे हुए होते हैं, इसलिए इसे “उत्तानपादासन” कहा जाता हैं। यह एक पारंपरिक योग आसन है जिसके अभ्यास से पेट, जांघों, पिंडलियों और पीठ के निचले हिस्से की मांसपेशियों में खिचाव होता है।

जिन लोगों के कमर दर्द और पेट की बीमारी है उनके लिए यह काफी फायदेमंद होता है। यह आसन आपके पेट की चर्बी को कम करने और पेट को अंदर करने में मदद करता है। फ्लैट पेट और मजबूत एब्स की चाह रखने वाले लोग इसे पसंद करते हैं।

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उत्तानपादासन करने का सही तरीका [Right Technique To Do Uttanpadasana (Raised Leg Pose) in Hindi]:

सबसे पहले किसी भी आसन को करने के लिए आपको एक खुली हवा दार अच्छी जगह चुन नी चाहिए जहाँ आप योग का अभ्यास करने में बिल्कुल सहज महसूस करते हो, खुद को सहज महसूस करवाना योग का प्रारंभिक चरण है आइये जानते है उत्तानपादासन कैसे करे

उत्तानपादासन कैसे करे [How To Do Uttanpadasana (Raised Leg Pose) in Hindi]:

  1. सबसे पहले योग मेट बिछा कर उस पर पेट के बल लेट जाएं।
  2. दोनों पैरों को आपस में सटाकर रखें, पैरों के बीच ज्यादा दूरी नहीं होनी चाहिए।
  3. अपने हाथों को शरीर के बगल में रखें।
  4. हाथों की हथेली को नीचे फर्श पर अपने नितम्बो (कूल्हों) के पास रखें।
  5. अब धीरे-धीरे सांस अन्दर लेते हुए अपने दोनों पैरों को ऊपर उठाएं।
  6. आपको पैरो को 35 से 60 डिग्री तक ही उठाना है।
  7. अपने शरीर को 20 से 30 सेकंड के लिए वहीं स्थिर रखें और पंजे को बाहर की तरफ खींचें।
  8. ध्यान रखे की पैर ऊपर उठाते समय घुटनों को न मोड़ें।
  9. इस मुद्रा से बाहर आने के लिए सांस छोड़ें और धीरे-धीरे अपने पैरों को फर्श से नीचे लाएं।
  10. अपने दोनों हाथों को अपने शरीर के साथ रखें।
  11. अपने पैर को सीधा रखें और एक गहरी सांस लें और कुछ सेकंड के लिये आराम करें।
  12. इसे लगभग 3 – 5 बार दोहराएं।

इस योग का अभ्यास एक पैर से भी किया जा सकता है। इस तरह अभ्यास के लिये पैरों को वैकल्पिक रूप से बारी बारी उपर उठाये।

उत्तानपादासन करने का आसान तरीका [Easy way to do Uttanapadasana (Raised Leg Pose) in Hindi]:

शुरू में, आपको इस आसन को करने के लिए आवश्यक स्ट्रेच करना आपके लिये मुश्किल हो सकता है। इस आसन को आसान बनाने के लिए, अपनी पीठ के नीचे एक मोटा कंबल रखकर अपनी कमर को सहारा दे सकते है।

अगर आपकी पीठ में हल्का दर्द होने लगता है या हल्का दर्द हो, तब जमीन पर कोहनियों को टिकाकर धड़ का सहारा लें सकते है।

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उत्तानपादासन के फायदे [Uttanpadasana (Raised Leg Pose) benefits in Hindi]:

उत्तानपादासन के लाभ से कई शारीरिक और मानसिक समस्याओं से छुटकारा पाया जा सकता है, आइये जानतें है की उत्तानपादासन के फायदे क्या हैं-

उत्तानपादासन करने का तरीका और फायदे – Uttanapadasana (Raised Leg Pose) Steps and Benefits in Hindi
उत्तानपादासन करने का तरीका, फायदे और सावधानियां – Uttanapadasana (Raised Leg Pose) Steps, Benefits And Precautions in Hindi

1. वजन को कम करने के लिए उत्तानपादासन के फायदे [Benefits of Uttanapadasana (Raised Leg Pose) to Reduce Weight in Hindi]:

अगर आप मोटापे और भारी वजन की समस्या से परेशान हैं तो यह योग आपके लिए फायदेमंद हो सकता है। इस आसन के नियमित अभ्यास से आप कुछ ही दिनों में अपने वजन और पेट को कम कर सकते हैं और एक टोंड बॉडी फिगर पा सकते है। यह आसन इतना प्रभावी है कि इसको रोजाना करने से पेट पर एब्स बनने लगते हैं।

यह आसन आपके पेट के लिए सबसे अच्छा आसन है, अगर आपको अपच, गैस, कब्ज, एसिडिटी जैसी समस्याएं हैं तो नियमित रूप से इसका अभ्यास करें। इसे सही और नियमित रूप से करने से आपको इन समस्याओं से छुटकारा मिल जाएगा। यह आसन पाचन क्रिया को बेहतर बनाए रखने में भी फायदेमंद होता है।

3. उत्तानपादासन के फायदे से कमर दर्द, हिप और जांघ की मांसपेशियां के लिए [Uttanpadasana (Raised Leg Pose)  Benefits for Back Pain, Hip and Thigh Muscles in Hindi]:

अगर आप कमर दर्द की समस्या से पीड़ित हैं, तो यह आसन आपके लिए फायदेमंद हो सकता है। विभिन्न अध्ययनों से यह साबित हुआ है कि इस योग के नियमित अभ्यास से आपकी पीठ, कूल्हे और जांघ की मांसपेशियां में खिचाव पैदा होता हैं।

जिससे मांसपेशीयों के लचीलेपन में सुधार होता है और इस क्षेत्र में रक्त के प्रवाह को बढ़ाने में भी मदद मिलती है, जिससे मांसपेशियों को अधिक मात्रा में ऑक्सीजन मिलती है।

पोषण, जो उन्हें मजबूत और विकसित करने में मदद करता है, इसलिए इस आसन के नियमित अभ्यास से व्यायाम और अन्य कार्यों के दौरान पीठ, कूल्हे और जांघ की मांसपेशियों में चोट को रोकने में मदद मिल सकती है।

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4. उत्तानपादासन के फायदे पाचन तंत्र के कार्य में सुधार के लिये [Benefits of Uttanpadasana (Raised Leg Pose) for Improve the Function of Digestive Systems in Hindi]:

उत्तानपादासन (Uttanapadasana) के सबसे अच्छे स्वास्थ्य लाभों में से एक है, यह पाचन को बेहतर बनाने में मदद करता है। विभिन्न अध्ययनों से यह साबित हुआ है कि इस योग के नियमित अभ्यास से पेट और आंतरिक आंत पर बहुत अधिक दबाव बनता है, जिसके कारण हमारा शरीर हार्मोन बनाता है।

जो पाचन तंत्र के कार्य को बढ़ावा देने में मदद करता है जो उचित आंत्र आंदोलन को बेहतर बनाता है और यह भी पाचन रस और एंजाइम के उत्पादन को बढ़ाता है जो भोजन को पचाने में मदद करता है और कब्ज को रोकने में मदद करता है। तो जो लोग खराब पाचन से  पीड़ित हैं वे बेहतर परिणामों के लिए नियमित रूप से इस आसन का अभ्यास कर सकते हैं।

5. शरीर में ब्लड सर्क्युलेशन बढ़ाने के लिये उत्तानपादासन के फायदे [Benefits of Uttanpadasana (Raised Leg Pose) for Increasing Blood Circulation Around the Body in Hindi]:

इस योगासन के नियमित अभ्यास से रक्त प्रवाह को बेहतर बनाने में मदद मिल सकती है, क्योंकि जब हम इस अभ्यास को कर रहे होते हैं तो हम फर्श पर लेटते हैं और यह हमारे हृदय प्रणाली पर कम दबाव डालता है, इसलिए रक्त प्रवाह अधिक और आसान होता है।

6. महिलाओं के लिए उत्तानपादासन के फायदे [Benefits of Uttanpadasana (Raised Leg Pose) for women in Hindi]:

यह आसन महिलाओं के लिए बहुत फायदेमंद है, यह गर्भाशय की दीवारों को मजबूत करने के लिए एक अच्छा आसन है। कई अध्ययनों से साबित हुआ है कि नियमित आधार पर इस योग का अभ्यास प्रजनन अंगों के कार्य में सुधार कर सकता है, जो यौन प्रदर्शन को बढ़ाने में मदद करता है क्योंकि Uttanapadasana करते समय, यह यौन अंग को सुधारता है, और यह यौन अंग के रक्त प्रवाह में भी सुधार करता है।

7. उत्तानपादासन के फायदे पेट के अंगों को मजबूत बनाने में [Benefits of Uttanpadasana (Raised Leg Pose) for Strengthens the Abdominal Organs in Hindi]:

इस योगासन का नियमित रूप से अभ्यास करने से पेट के अंग की ताकत में सुधार हो सकता है क्योंकि उत्तानपादासन (Uttanapadasana) करते समय, यह पेट के अंग पर बहुत दबाव डालता है, जो उस क्षेत्र में हार्मोन के उत्पादन में मदद करता है जो इन हार्मोन को उत्तेजित करने में मदद करता है जो हमारे पेट के अंगों और उस क्षेत्र में रक्त के प्रवाह को भी बेहतर बनाता है, जो पेट की मांसपेशियों की ताकत को बढ़ाने में मदद करता है।

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8. तनाव को करे दूर करने के लिए उत्तानपादासन के फायदे [Benefits of Uttanapadasana (Raised Leg Pose) to Relieve Stress in Hindi]:

इस योगासन को करने से तनाव और (Depression) अवसाद से भी छुटकारा मिलता है। इस आसन को करने से आप चिंता मुक्त महसूस करेंगे और आपके मन में सकारात्मक विचार आएंगे।

अन्य उत्तानपादासन के फायदे और लाभ [Other Benefits of Uttanapadasana (Raised Leg Pose) in Hindi]:

  • उत्तानपादासन मधुमेह के रोगियों के लिए अच्छा होता है।
  • यह आसन हृदय, फेफड़े, लीवर, अग्नाशय और आंतों को स्वस्थ रखने में भी प्रभावी माना जाता है।
  • इसके अलावा यह आसन करने से पैरों में सूजन की समस्या से भी राहत मिलती है।
  • यह नाभि के उपचार और नाभि को सही करने के लिए एक उत्कृष्ट योगाभ्यास है।
  • यह हमारे (नर्वस सिस्टम) तंत्रिका तंत्र की कमजोरी को दूर करता है और हमारे शरीर को शांत रखने में मदद करता है।
  • यह आसन (Uttanapadasana) हृदय को स्वस्थ रखता है और कई शारीरिक समस्याओं को दूर करता है और शरीर को लचीला बनाता है।
  • यह आसन पैरों को मजबूत एवं सुदृढ़ बनाता है।

बाबा रामदेव द्वारा बताया गया उत्तानपादासन करने का सही तरीका [Baba Ramdev Step By Step Instructions For Uttanpadasana (Raised Leg Pose) in Hindi]:

उत्तानपादासन करते समय क्या सावधानियां और एहतियात बरते [What Are The Precautions To Be Taken While Uttanapadasana (Raised Leg Pose) in Hindi]:

उत्तानपादासन कैसे करें, यह जानने के साथ-साथ इससे जुड़ी कुछ सावधानियों के बारे में जानना भी जरूरी है, आइए जानते हैं कि उत्तानपादासन करते समय व्यक्ति को कौन सी सावधानियां और एहतियात बरतनी चाहिए-

  • अगर आप पेट में चोट या पेट दर्द से पीड़ित हैं तो इस मुद्रा को करने से बचें।
  • गर्भवती महिलाओं को पहले कुछ महीनों के लिए उत्तानपादासन से बचना चाहिए। तीसरी तिमाही में इस आसन का अभ्यास करने से पहले डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए। अभ्यास करते समय आप दीवार का सहारा ले सकते हैं।
  • उच्च रक्तचाप, स्लिप डिस्क, अल्सर या पेट की सर्जरी से पीड़ित लोगों को यह आसन नहीं करना चाहिए।
  • पीरियड्स के दिनों में यह योग नहीं करनी चाहिए। लेकिन अगर आप ऐसा करने में सहज हैं तो कोई समस्या नहीं है।
  • इस योग मुद्रा का अभ्यास विशेषज्ञ के मार्गदर्शन में करना चाहिए।
  • योग आसन को हमेशा खाली पेट या भोजन के 4 घंटे बाद करें।
  • किसी भी अभ्यास का अभ्यास करने से पहले डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।

आशा है इन सभी गुणों को जान ने के बाद आपको कभी यह नहीं बोलना पड़ेगा की उत्तानपादासन करने का तरीका और फायदे (Raised Leg Pose / Uttanapadasana Yoga Steps And Benefits in Hindi) क्या होते है।

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और अगर आपके घर परिवार में भी कोई उत्तानपादासन करने का तरीका और फायदे (Raised Leg Pose / Uttanapadasana Yoga Steps And Benefits in Hindi) के बारे में जानना चाहते है तो आप उन्हें भी यह लेख भेजे जिस से उन लोगो को भी उत्तानपादासन करने का तरीका और फायदे (Raised Leg Pose / Uttanapadasana Yoga Steps And Benefits in Hindi) के बारे में पता चलेगा।

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